Think And Grow In Life

-: सोच ऐसी जो आपमें बदलाव लाए :-

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Wednesday, March 1, 2017

सोच ही जीवन है Think Is Life


           नमश्कार दोस्तों में हु Shubham आप सभी का स्वागत करता हु इस Blog पे। हमेशा मैंने यह पाया है की आदमी हमेशा जानेअंजाने में उसी चीज के बारे में सोचता रहता है। जो उसे नहीं चाहिए। लेकिन ऐसी Negative बातों का क्या असर होता है अपने जीवन में..? आईये हम उस पर चर्चा करते है।

टिप :- यह Article में Use किये गए Words Hard Language में है। समझने की कोशिश जरूर करना। आपके लिए ही है। 
           स्वास्थ्य की विश्वासगीता सोचते वक्त आप एक बात का विशेष ध्यान रखे। इसमें आपको क्या चाहिए, सिर्फ वही सोचें। 'मुझे बिमारी नहीं चाहिए।' ऐसा न सोचते हुए स्पष्टता से मनन करें- 'मुझे स्वास्थ्य का आनंद चाहिए।' इससे आप में हमेशा Positivity बनी रहेंगी ऐसा मेरा हमेशा से मनना रहा है। क्योकि आप जो सोचेंगे, वह सच होगा इसलिए आपको सिर्फ स्वास्थ्यवर्धक, सकारात्मक (Positive) और प्रेरणादायी (Inspirational) विचार ही सोचने है। ध्यान रखे, सकारात्मक शब्दों से सकारात्मक Positive Programing होती है अपने दिल और दिमाग में। और नकारात्मक (Negative) शब्द अपना नकारात्मक असर गहराई तक छाप छोड़ जाते है। तो आइए, कुछ Examples के जरिये यह बात हमेशा के लिए समझ ले।

गलत तरीका - मुझे बिमारी नहीं चाहिए।
सही तरीका   - मुझे स्वास्थ्य का आनंद चाहिए।

गलत तरीका - मेरा मोटापा कब दूर होगा?
सही तरीका - मेरा वजन आदर्श स्थिति में आ सकता है। मैं स्वस्थ्य, चुस्त और तंदुरुस्त दिखने लगा हूँ।

गलत तरीका - मुझे चुस्त शरीर तैयार करने के लिए बहुत कष्ट करने पड़ेंगे।
सही तरीका  - योग्य आहार, विहार और व्यायाम से मेरा शरीर आसानी से चुस्त बन सकता है।
          इनके अलावा आप सम्पूर्ण स्वास्थ्य पाने के लिए निचे दिए हुए वाक्य भी मन में दोहरा सकते है। और हां इनको में भी Practice कर रहा हु क्योकि मेरी भी Personality काफी कमजोर है। ☺

1. मैं स्वस्थ हूँ, तंदुरुस्ती का आनंद ले रहा हु।
2. मैं चुस्त हूँ, चुस्ती का आनंद ले रहा हु। 
3. मई सही वक्त पर सही मात्रा में भोजन लेता हु।
4. मैं ईश्वर की दौलत हूँ कोई बिमारी मुझे छु नहीं सकती।
          अब स्वयं को शाबाशी देते हुए अपना नाम लेकर कहे- 'तुम्हे स्वस्थ, चुस्त, तंदुरुस्त, खुशहाल शरीर बहुत-बहुत मुबारक!
अपना उद्देश्य स्पष्ट सोचिए - 'ताकि'
           आपको हमेशा अपनी प्रार्थनाओं के पीछे होनेवाला उद्देश्य स्पष्टता से सोचना है। आप अपने जीवन में जो स्वास्थ्य लाभ चाहते है, उसे सहज से पाने के लिए 'ताकि' शब्द का इस्तेमाल करे। आइए, ये भी Example के तौर पर कुछ सकारात्मक स्वसंवादो पर गौर करें :

1. मैं 'सम्पूर्ण स्वास्थ्य पाना चाहता हूँ ताकि मैं सम्पूर्ण सफलता (Success) का लक्ष्य (Goal) पा सकूँ।
2. मैं नियमित रूप से व्यायाम करना चाहता हूँ ताकि मेरी रोग प्रतिकार क्षमता का सम्पूर्ण विकास हो। 
3. मेरे शरीर में दिव्य ऊर्जा का प्रवाह हो ताकि मैं हर पल आनंद ले पाऊँ।
4. मेरे रोम-रोम में स्वास्थ्य हो ताकि मैं किसी भी चुनौती का सामना करने में समर्थ बन जाऊँ।
5. मैं हर साँस के साथ Healthy, Welthy (धनवान) बनु ताकि मेरे जीवन में शरीर संपदा और धन संपदा आए।
           इस तरह से हमेशा हर उद्देश्य के पीछे कोई न कोई समस्या का समाधान होने की वजह होनी चाहिए तभी हर काम आसानी से हो सकता है। ऐसा में आपको दावे के साथ कह सकता हु। तो चलिए इसी के साथ में मेरी कलम रोखता हु। और आपको अलविदा करता हु। 
      आखिर में Do Subscribe And Share धन्यवाद।

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