Bangalore के रमेश बाबू पेशे से न्हाई हैं, लेकिन हर साल वह 10 करोड़ रुपए से ज्यादा कमाते हैं। वह 3.50 करोड़ रुपए की Rolls Royce से सफर करते हैं। इतना ही नहीं, उनकी कारों के बेड़े में 378 कार हैं। इनमें से 120 लग्जरी कार हैं। BMW, Rolls Royce, Mercedes जैसी कई कारें इसमें शामिल हैं।
अगर आपको लगता है कि रमेश बाबू शायद सेलेब्रिटीज के बाल काटते होंगे, तो ऐसा नहीं है। उनका सैलून एक आम सैैलून है, जहां आम लोग ही बाल कटवाने पहुंचते हैं। एक हेयरकट के लिए वह महज 150 रुपए लेते हैं।
अपनी लग्जरी लाइफ उन्होंने सैैलून से नहीं, बल्कि अपनी मेहनत और लगन से हासिल की है। आगे जानिए कि आखिर कैसे एक नाई हर साल 10 करोड़ रुपए कमाता है और लगज्री कारों से सफर करता है।
1993 में मारुति को किराए पर देने के बाद रमेश की जिंदगी ने जो करवट ली, तब से वह सिर्फ सफलता की और बढ़ रहे हैं। बढ़ते ही जा रहे हैं।
रमेश बाबू ने अपने पिता के निधन के बाद सलून की जिम्मेदारी संभाली, लेकिन इससे पहले वह अखबार और दूध बेचने का काम करते थे। महज 14 साल की उम्र में रमेश ने काम करना शुरू कर दिया था। वह हर रोज सुबह 6 बजे उठकर लोगों के घरों में दूध और अखबार दिया करते थे।
पिता की मृत्यु के बाद उन्होंने सलून की जिम्मेदारी अपने ऊपर ले ली। रमेश ने एक Interview में कहा कि उनकी आजीविका का साधन सिर्फ वह सलून था। इसलिए उन्होंने कई बार सुबह 6 बजे से लेकर रात के 2 बजे तक काम किया है।
14 से 18 साल की उम्र तक रमेश महज 100 रुपए प्रति महीना कमाया करते थे। उनकी मां दूसरों के घरों में बर्तन धोया करती थीं। इस समय न उनके पास कार थी और न ही इतने पैसे कि वह एक कार खरीद पाते।
रमेश बाबू ने 1993 में खुद के इस्तेमाल के लिए लोन पर एक मारुति Omni-E खरीदी, लेकिन कार लेने के बाद परिस्थितियां इतनी मुश्किल हो गईं कि वह 3 महीने तक लोन की किस्त भी नहीं भर पाए। उनकी इस मुश्किल में उन्हें एक ऐसा सुझाव मिला, जिसने उनकी जिंदगी को पूरा बदल के रख दिया।
रमेश की मां जिनके घर में काम करती थीं। उन्होंने रमेश को सुझाव दिया कि रमेश को अपनी कार को Personal Use के बदले किराए पर देना शुरू करना चाहिए। इससे न सिर्फ वह अपना लोन चुका पाएंंगे, बल्कि अच्छी कमाई भी कर सकेंंगे।
1993 में मारुति को किराए पर देने के बाद रमेश की जिंदगी ने जो करवट ली, तब से वह सिर्फ सफलता की और बढ़ रहे हैं। बढ़ते ही जा रहे हैं।
रमेश बाबू सैैलून में लोगों के बाल काटने के अलावा रमेश टूर्स एंड ट्रैवल्स के नाम से कार रेंटल का बिजनेस चलाते हैं। यहां उनके पास छोटी सी छोटी कार से लग्जरियस कारें रेंट पर मिल जाती हैं। उनके क्लाइंट्स की लिस्ट में बॉलीवुड सेलेब्रिटीज और बिजनेसमैन हैं।
Maruti Omni-e में बैठकर रमेश बाबू ने जिस सफर की शुरुआत की थी, आज वह Rolls Royce से सफर करने तक पहुंच गया है। रमेश का यही बिजनेस है, जो उन्हें सालाना करोड़ों रुपए की कमाई का मौका देता है।
यहां से अगर आप एक दिन के लिए Rolls Royce को किराए पर लेना चाहते हैं, तो आपको कम से कम 50 हजार रुपए खर्च करने पड़ेंगे। रमेश के कारों के बेड़े में आपको B.M.W. & Jaguar भी मिलेंगी। भले ही रमेश अब अमीर हो गए हैं, लेकिन फिर भी वह हर दिन अपने सैैलून पहुंचते हैं और लोगों के बाल काटते हैं। रमेश कहते हैं कि वह इस काम को कभी छोड़ेंगे भी नहीं।
रमेश कहते हैं कि यही काम है, जिसने उनका साथ तब दिया है, जब उनके पास कुछ नहीं था। उनका कहना है कि वह दूसरे के काम के साथ इस काम को भी हमेशा जारी रखेंगे, क्योंकि यही उनका असली बिजनेस है। रमेश का सलून बेंगलुरु में स्थित है। यहीं उनका कार रेंटल का बिजनेस भी चल रहा है। वह दोनों को बखूबी संभाले रखते हैं और आगे भी ऐसा ही बनाए रखना चाहते हैं। रमेश बाबू के पास वैसे तो लग्जरी कारों की कोई कमी नहीं है, लेकिन वह इसमें एक और अहम लग्जरी कार को शामिल करना चाहते हैं।
रमेश अब स्ट्रेच लिमोजिनी को अपने कार के बेड़े में शामिल करना चाहते हैं। करीब 8 करोड़ रुपए की इस कार को शामिल करने की उन्होंने तैयारी भी कर ली है और जल्दी ही यह कार भी रमेश बाबू के पास होगी।आज जिस Rolls Royce से रमेश बाबू सफर करते हैं, वह उन्होंने 2011 में खरीदी थी। उसके बाद से उनके कार के बेड़े में लग्जरी कार्स जुड़ती गईं और जुड़ती ही जा रही हैं।
रमेश बाबू कहते हैं कि अगर आप सफल होना चाहते हैं, तो आपको रिस्क लेने की हिम्मत करनी होगी। जब तक आप Risk नहीं लेंगे, जीवन में कुछ भी हासिल करना मुश्किल होगा।
उनका फेवरेट कोट है, Determination और Hard Work ही जिंदगी की वो कंगी और कैंची है, जिससे आप अपनी जिंदगी की कर सकते हैं।'
वह कहते हैं कि Risk, Determination और Hard-work ही सफलता की चाबी है। अगर आप इन तीन चीजों को कर सकते हैं, तो आपको सफल होने से कोई नहीं रोक सकता।
और आखिर में Subscribe करना ना भूले धन्यवाद।
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